गुडगाँव की आवाज़ की सफर में...........

नवीं क्लास के बाद नरेश का दिल पढने में नहीं लगा,उसने आगे की पढाई नहीं की और घर में भी उसे किसी ने पढ़ने के लिए दबाव नहीं डाला ।दिन तो बीतते जा रहे थे।मगर नरेश के जीवन में कोई परिवर्तन नहीं आया,सिवाय स्कूल न जाने के। गुड़गाँव स्टेशन के पास सरायगाँव—यही है नरेश का गाँव ,सिर्फ अपने गाँव तक ही उसकी दुनिया थी।लगभग एक साल पहले तक नरेश की यही स्थिति थी।उसे बस उसके दोस्त जानते थे।और कुछ वे लोग जो इसलिए जानते थे...क्योंकि वह दिन भर गाँव में हाणता (घूमता) रहता था।मगर आज उसी नरेश को पूरा गाँव जानता है.....वह अब गुड़गाँव की आवाज सामुदायिक रेडियो में रिपोर्टर है। गाँव में जब लोग उसके उसके कार्यक्रम को सुनते हैं तो उसकी माँ के पास शब्द नहीं होते.....इस खुशी को बयां करने। नरेश की आंखें भी चमक उठती हैं...नरेश एडिटिंग में सबसे माहिर है।पूरे कार्यक्रम के तैयार होने के बाद प्रसारण से पहले जब नरेश को वह कार्यक्रम सुनाती हूँ....तो वह बारीकी से गलती निकाल लेता है।
उसकी सबसे अच्छी खूबी यह है कि उसे पता होता है कि बीस मिनट की रिकॉर्डिंग में उसे क्या उड़ा देना है।उड़ा देने के बाद आपके पास सही कंटेंट होता है एडिटिंग करने के लिए । और जब हम पत्रकारिता की पढ़ाई कर रहे होते .....तो यही बताया जाता है कि कोई खबर बनाते समय क्या आपके काम की नहीं है....उसे हटा दो।कितनी अजीब बात है न...नरेश जिसका पत्रकारिता से दूर दूर तक कोई वास्ता नहीं..वह आज रेडियो रिपोर्टिंग में माहिर है। अच्छे पत्रकारिता संस्थान से निकले हुए छात्र और नरेश में मुझे कोई अंतर नहीं आता...सिवाय डिग्री के । जब वह हमारी टीम में शामिल हुआ था तो वह नज़र भी नहीं मिला पाता था...(क्योंकि मैं लड़की थी)। स्पोर्टस की खब़रों पर नज़र रखने वाला नरेश अब मुझसे नज़रें मिला कर कहता है..देख सौम्या मैं तो नू कै रहा था कि जो अखबार ण पढ़े,बजट के बारे में ण जाणे..उसे देस में रहण का कोई हक न—यह टिप्पणी उसके बजट के दिन की थी,जब उसी के गाँव में लोग उसे बजट पर बाइट देने से कतरा रहे थे।

टिप्पणियाँ

बेनामी ने कहा…
ahan k shabd me sach me jadu chhai,padhait-pdhait akh thaki gel lekin mon nai thakai chhai....(u really hav magic in ur words,my eys r tired,but mind is not tiring...)

इस ब्लॉग से लोकप्रिय पोस्ट

फिर वो रात कब आएगी.........

क्या राहुल वाकई मर गया

सलाह एक हमारी मानो